Labels

Friday, February 1, 2019

श्रृंगार अम्बर धरनि का

श्रृंगार अम्बर धरनि का,  देखो कैसे निखर रहे,
खुली वाटिका भावों की, शब्द कुसुम से बिखर रहे!
गीतों की खुशबू फैली , मन मचल उठा गाने को, ,,
लेखनी ने अंगड़ाई ली सभी भाव सँवर रहे!!
------"तनु" 

No comments:

Post a Comment