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Thursday, August 20, 2015

हरियाय या चुन्दड़ली, सावण री फुँवार ;
राधा संग साँवरिया,  बावरी है बयार !
बावरी है बयार,  आँचल लहरावै दूब रो ;
मिट गी मन री रार,टूट्यो नातो ऊब रो !!…तनुजा ''तनु ''

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