गोरैया …
पहले कभी घरों में दिखती थी गौरैया
पहले कभी घरों में दिखती थी गौरैया
अब भी कहीं घरों में दिखती है गौरैया !!
सीमेंट टावरों के जंगल बढ़ जाने से ,
शायद ही अब तो कहीं दिखेगी गौरैया !!
तस्वीर पीछे, घरौंदा बनाती गोरैया !
तिनका तिनका चुना घर बनाती गोरैया ,
शोरगुल कितना चुन चुन कितनी चहचहाह !!!
हाँ कभी थी जब तू घर बनाती गोरैया ,
जैसे बचपन गया तुम गयी गोरैया !
शायद तितली संग छुप गयी है गोरैया.
नन्हा बुलाता तू अब तो सुन ले री चुन चुन !!
हम इंतज़ार करें क्या आयेगी गोरैया ???
साथ किसके नन्हा खेले बता न गोरैया ??
फुदकता चहकता प्यार खिलौना गौरैया
पहली किरण का सन्देश अब कौन लाएगा ???
प्रातः प्रातः की बात में अन्धेरा ---- गोरैया ,,,,,,''तनु ''
No comments:
Post a Comment