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Saturday, April 5, 2014

भाषण भर कर कान  में नेता हो गए चुस्त ,
मन में अपने समझ रहे कर गए काम दुरुस्त !
कर गए काम दुरुस्त अब आया उनका राज ,
पर नहीं जानते भाषण अब नहीं करते राज !
योग्य व्यक्ति ही चाहिए देश नेतृत्व के लिए !
मिल कर जलाते चलो जनसंस्कृति के दीए !!………तनुजा ''तनु ''

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